बिजली घोटाले में फंसेंगे दिल्ली के सीएम, दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष का आरोप
दिल्ली में नेता विपक्ष विधूड़ी ने आरोप लगाया है कि दिल्ली सरकार ने बिजली कंपनियों को 8000 करोड़ रुपये का फायदा पहुंचाया है
स्टार एक्सप्रेस/संवाददाता
दिल्ली: दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा का कहना है दिल्ली में बीजेपी और आम आदमी पार्टी के बीच आरोपों का दौर जारी है। कि शराब घोटाले के बाद दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल बिजली घोटाले में फंस रहे हैं। सचदेवा ने सवाल उठाया है कि CAG के ऑडिटर से ऑडिट करवाने की बात मार्लिना (आतिशी) ने कहा था तो अब तक ऑडिट क्यों नहीं करवाया।
सचदेवा ने बिजली सब्सिडी के भुगतान का मामला उठाते हुए पूछा कि छह साल से कोर्ट में सुनवाई लंबित है तो इस सरकार ने सुनवाई की अर्जी अभी तक क्यों नहीं दी है। उनका कहना है कि प्राइवेट ऑडिटर को दिल्ली सरकार पेमेंट करेगी। उन्होंने कहा कि पॉवर परचेज कॉस्ट के नाम पर दिल्ली में छह फीसदी चार्ज बढ़ाए गए, फिक्स चार्ज सबसे ज्यादा है।
दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने आरोप लगाया कि दिल्ली सरकार, डिस्कॉम और कंपनियां सब मिले हैं, ये ऑडिट करवाना नहीं चाहते हैं। उनका कहना है कि LG ने जब ऑडिट कराने का पत्र लिखा तब ही ऑडिट करवाने की बात कही जा रही है। बीजेपी की ओर से सचदेवा ने कहा कि हम इस ऑडिट को नहीं मानते हैं क्योंकि इसे प्राइवेट ऑडिटर से करवाएंगे। उन्होंने कहा कि हमारी मांग है कि CAG बिजली सब्सिडी का ऑडिट करवाएं। साथ दिल्ली बीजेपी प्रमुख ने कहा कि दिल्ली की जनता को आप पार्टी बेवकूफ समझ रही है।
इस मामले पर दिल्ली के नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी ने कहा कि 2013-14 में केजरीवाल कहते थे कि कंपनियां फर्जी बैलेंससीट बनाकर घाटा दिखा देती हैं। केजरीवाल हमेशा मांग करते थे कि बिजली कंपनियों का CAG से ऑडिट करवाया जाए। बिजली कंपनियों को अब तक केजरीवाल सरकार 13 हजार करोड़ सब्सिडी दे चुकी है। उन्होंने कहा कि बिजली अधियिनयम की धारा 2003 की धारा 108 को लागू किया जाए, जिससे ऑडिट अनिवार्य हो जाए लेकिन इस धारा को लागू नहीं किया गया है।
उन्होंने कहा कि DERC ने घोषणा की थी कि बिजली चोरी कम होने पर बिजली की दर को कम किया जाएगा। आज साढ़े आठ रुपए यूनिट बिजली पड़ रही है और कमर्शियल कनेक्शन में अठारह रुपए प्रति यूनिट बिजली का बिल लिया जा रहा है। बिधूड़ी ने आरोप लगाया है कि दिल्ली सरकार ने बिजली कंपनियों को 8000 करोड़ रुपये का फायदा पहुंचाया है। उन्होंने कहा कि पॉवर परचेज कॉस्ट के नाम पर दिल्ली में छह फीसदी चार्ज बढ़ाए गए, फिक्स चार्ज सबसे ज्यादा है।