अर्चना वर्मा ने ठुकराकर सपा का साथ BJP से लड़कर चुनाव की जीत हासिल की
यूपी निकाय चुनाव में सभी नगर निगम के मेयर पदों पर BJP ने जीत दर्ज की है। इस जीत के साथ एक प्रत्याशी से जुड़ा एक रोचक किस्सा है, अर्चना वर्मा को पहले सपा से टिकट मिल गया था, मगर नामांकन से ठीक पहले उन्होंने बीजेपी की और चुनाव लड़कर जीत दर्ज की है
स्टार एक्सप्रेस/संवाददाता
शाहजहांपुर : यूपी निकाय चुनाव में सभी नगर निगम के मेयर पदों पर BJP ने जीत दर्ज की है। इस जीत के साथ एक प्रत्याशी से जुड़ा एक रोचक किस्सा है। अर्चना वर्मा को पहले सपा से टिकट मिल गया था, नामांकन से ठीक पहले उन्होंने बीजेपी की और चुनाव लड़कर जीत दर्ज की है। यूपी निकाय चुनाव में 17 नगर निगम के मेयर पदों पर भगवा लहराकर बीजेपी ने इतिहास रच दिया है।
इस जीत में एक अहम किरदार और उनसे जुड़ा रोचक किस्सा है। इनका नाम है अर्चना वर्मा। सपा से टिकट मिलने के बावजूद अर्चना ने बीजेपी ज्वाइन की थी। इसके बाद बीजेपी ने उन्हें चुनावी मैदान में उतारा और उन्होंने जीत का परचम लहराया है। इसके साथ ही अर्चना के नाम एक रिकॉर्ड दर्ज हो गया है।
शाहजहांपुर को बतौर नगर निगम साल 2018 में मंजूरी मिली थी। इसके बाद यहां पहली बार महापौर पद के लिए वोट डाले गए। इसमें अर्चना को 80 हजार 740 मत मिले। उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी निकहत इकबाल को 30 हजार 256 वोटों से हराया और शाहजहांपुर नगर निगम की पहली नागरिक बन गईं।
अर्चना वर्मा
अर्चना शाहजहांपुर से दो बार सांसद और चार बार विधायक रहे राममूर्ति वर्मा की बहू हैं। 2004 में अर्चना ने सपा के टिकट पर जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव लड़ा था और जीत दर्ज की थी। इनके पति राजेश वर्मा ने 2022 के विधानसभा चुनाव में ददरौल सील से समाजवादी पार्टी के टिकट से चुनाव लड़ा था। हालांकि, उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
शाहजहांपुर की सियासत में वर्मा परिवार का सियासी दबदबा रहा है। इसके साथ ही यहां अर्चना की सियासी अहमियत क्या है, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि जब उन्होंने सपा छोड़ी तो डिप्टी सीएम बृजेश पाठक और कैबिनट मंत्री सुरेश खन्ना ने पार्टी में शामिल करवाया था।
इसके बाद पाठक ने ट्वीट करके कहा था, ‘आज भाजपा प्रदेश मुख्यालय, लखनऊ में भाजपा पदाधिकारियों की गरिमामयी उपस्थिति में शाहजहांपुर से सपा महापौर प्रत्याशी श्रीमती अर्चना वर्मा को भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण करने पर हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दीं।
इस दौरान अर्चना वर्मा ने कहा था कि सपा से टिकट मिलने के बावजूद पार्टी में उन्हें सहयोग नहीं मिल रहा था और वो गुटबाजी से परेशान हो चुकी थीं चुनाव प्रचार के लिए कई बार सपा पदाधिकारियों से शहर के लोगों की सूची मांगी लेकिन उन्हें नहीं दी गई। वो बीजेपी में आकर सुरक्षित महसूस कर रही हैं और यहा रहकर अच्छे से लोगों की सेवा कर पाएंगी।