जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल-370 हटाये जान के बाद कुछ इस तरह पर्यटन पर पड़ा बुरा असर

जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल-370 हटाये जाने का बड़ा असर इस नये केंद्र शासित प्रदेश में पर्यटन पर भी पड़ा है। इस साल अगस्त से नवंबर के बीच 32,000 से कुछ अधिक घरेलू पर्यटक ही कश्मीर घूमने गये।

इन चार महीनों के आंकड़ों को देखें तो जम्मू-कश्मीर में पिछले साल के मुकाबले घरेलू पर्यटकों की संख्या में 87 प्रतिशत की गिरावट आई है। पिछले साल इस अवधि में घरेलू पर्यटकों की संख्या करीब 2.49 लाख थी। वहीं, विदेश पर्यटकों की संख्या में भी 82 प्रतिशत की गिरावट आई है।

की रिपोर्ट के अनुसार इस साल जम्मू-कश्मीर में पर्यटन के लिए लिहाज से नवंबर सबसे अच्छा महीना रहा। इस महीने में 10,946 घरेलू और 1,140 विदेशी पर्यटक आए। ये सितंबर की संख्या से दोगुने से कुछ अधिक है। आर्टिकल-370 हटाये जाने के बाद जम्मू-कश्मीर में 10 अक्टूबर से आधिकारिक रूप से ट्रैवल बैन हटाये गये थे। हालांकि, आंकड़े बता रहे हैं कि पर्यटन के लिहाज से बहुत फायदा अभी इस केंद्र शासित प्रदेश को नहीं हुआ है।

श्रीनगर के राजबाग में एक होटल के मालिक परवेज बाबा के अनुसार उनके 24 कमरों में से इस हफ्ते केवल 4 कमरे किराये पर दिये जा सके। ये भी अहम है कि इन कमरों को उन्हें सामान्य कीमत से आधे पर किराये पर देना पड़ा।

वैसे इसी साल जून और जुलाई में जब किसी को जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल-370 हटाये जाने की भनक नहीं थी, तब घाटी में क्रमश: 1.62 लाख और 1.49 लाख घरेलू पर्यटक आये। जम्मू-कश्मीर पर्यटन के अनुसार ये पिछले साल की इस अवधि से करीब 27 प्रतिशत अधिक था। सूत्रों के अनुसार अमरनाथ यात्रा को अगर अगस्त में हुए फैसले से पहले बीच में नहीं रोका जाता तो पर्यटकों की संख्या इससे भी ज्यादा हो सकती थी।

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