ब्रिटिश सरकार का बड़ा एलान, भारत में अंतिम वायसराय लॉर्ड माउंटबेटन की डायरी सार्वजनिक करने से किया इंकार
ब्रिटिश सरकार ने एक बार फिर से भारत में अंतिम वायसराय लॉर्ड माउंटबेटन और उनकी पत्नी एडविना माउंटबेटन की डायरी तथा पत्रों को सार्वजनिक करने से इनकार कर दिया है। इन पत्रों और डायरी को सार्वजनिक करने के लिए लेखक एंड्रयू लोवनी ने चार साल का समय और ढाई करोड़ रुपये खर्च किए।
मुताबिक एडविना एक धनी परिवार से थीं और उनके पिता ब्रिटेन के सांसद थे। एडविना का कई मर्दों के साथ प्रेम संबंध था और वह उसे माउंटबेटन से छिपाती भी नहीं थीं। हिक्स ने अपनी मां को पुरुषों को आकृष्ट करने वाली महिला करार दिया था। पामेला हिक्स ने कहा कि उनकी मां के प्रेमी पूरे बचपन में ‘अंकल’ बनकर आते रहे।
ब्रॉडलैंड आर्काइव्स के नाम से जाने जाने वाले डायरी और पत्रों को 2010 में ही साउथहैंपटन यूनिवर्सिटी ने 2.8 मिलियन पाउंड में खरीद लिया था. इसके लिए कई लोगों से फंडिग तक ली गई. तब इन दस्तावेजों की लोगों तक पहुंच सुनिश्चित करने की बात कही गई थी.
एंड्रू लोनी ने अपनी वर्ष 2019 में आई किताब में कहा था कि एडविना का लॉर्ड माउंटबेटन के साथ शादी के तीन साल बाद ही वर्ष 1925 में दूसरों के साथ प्रेम संबंध शुरू हो गया था। उनका कथित रूप से हूग मोल्यनेऑक्स के साथ 10 साल तक अफेयर चला था। इसके बाद एडविना का स्टीफन लॉडी के साथ संबंध शुरू हुआ जो काफी धनी थे और पोलो खेलते थे।