आरक्षण को लेकर मायावती ने दिया चौंकाने वाला बयान !
Lucknow. बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने लोकसभा में पास हुए अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण संशोधन विधेयक 2018 का स्वागत किया है। यही नहीं केंद्र सरकार द्वारा पिछड़ा वर्ग आयोग को संवैधानिक दर्जा दिए जाने के कदम का भी समर्थन किया है।
आर्थिक आधार पर भी आरक्षण की अपनी मांग को दोहराते हुए कहा है कि इस संबंध में केंद्र सरकार संविधान संशोधन विधेयक लाती है तो BSP इसका समर्थन करेगी।
BSP सुप्रीमो मायावती ने मंगलवार को कहा विभिन्न राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए ही केंद्र सरकार मजबूरी में SC-ST अत्याचार निवारण कानून को पहले की तरह मूल रूप में बहाल करने संबंधित संशोधन विधेयक लाई, जो लोकसभा में पास हो गया है। BSP को उम्मीद है कि ये राज्यसभा में भी जरूर पास हो जाएगा। उन्होंने कहा कि इस विधेयक को काफी देर से लाया गया, जिसके कारण इन वर्गों को काफी नुकसान हुआ है। फिर भी BSP इस विधेयक का स्वागत करती है।
उन्होंने कहा कि इसका श्रेय उनकी पार्टी SC-ST वर्गों के तमाम लोगों को देती है, जिसमें BSP समर्थक भी शामिल हैं। मायावती ने कहा कि ये लोग ही बीजेपी और केंद्र सरकार पर दबाव बनाने के लिए इसी साल 2 अप्रैल को भारत बंद अभियान में सक्रिय रहे। जिनका अभी तक सरकारी उत्पीड़न किया जा रहा है। कई लोगों को फर्जी आरोपों में जेल में भी कैद कर दिया गया है। कुछ ने तो जान भी गंवा दी है। उन्होंने कहा कि BSP जेल में बंद ऐसे सभी लोगों की रिहाई की मांग करती है।
‘प्रमोशन में आरक्षण को प्रभावी बनाए सरकार’
मायावती ने कहा कि इसके साथ ही केंद्र सरकार से BSP की मांग है कि इस वर्ग की सरकारी नौकरियों में प्रमोशन, पदोन्नति को पूरी तौर से प्रभावी बनाए। BSP सुप्रीमो ने कहा कि जहां तक केंद्र सरकार द्वारा पिछड़ा वर्ग आयोग को संवैधानिक दर्जा दिए जाने का सवाल है तो इसका भी हमारी पार्टी स्वागत करती है। लेकिन यह प्रयास कागजी नहीं होना चाहिए। पिछड़े वर्ग को संवैधानिक व कानूनी हक भी पूरी ईमानदारी से मिलना चाहिए।
मायावती ने कहा कि बीजेपी और RSS एंड कंपनी के लोगों की चाल, चरित्र और चेहरे से ऐसा नहीं लगता है कि देश में दलितों, आदिवासियों, व पिछड़ों को देश भर में आरक्षण में खाली पड़े लाखों पदों को भरकर इन्हें थोड़ा आगे बढ़ने का मौका देगी।
इसके साथ ही मायावती ने कहा कि BSP सर्वसमाज में से अपरकास्ट समाज व मुस्लिम व अन्य धार्मिक अल्पसंख्यक समाज के गरीबों को भी आर्थिक आधार पर अलग से आरक्षण देने के लिए संविधान संशोधन के पक्ष रही है। BSP कई बार संसद व संसद के बाहर जोरदार मांग कर चुकी है। यही नहीं यूपी में मुख्यमंत्री रहने के दौरान भी उन्होंने केंद्र सरकार को इस संबंध में चिट्ठी लिखी। आज फिर से BSP का कहना है कि अगर केंद्र की सरकार इस पर संविधान संशोधन विधेयक लाती है तो BSP इसका समर्थन करेगी।