जुर्माने के बाद PNB की पूर्व CEO समेत 11 के खिलाफ समन

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने पंजाब नेशनल बैंक पर 2 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। पीएनबी पर वित्तीय लेन-देन के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले सॉफ्टवेयर का दुरुपयोग करने का आरोप हैं। दरअसल RBI ने स्विफ्ट परिचालन के संदर्भ में नियामकीय निर्देशों का अनुपालन नहीं करने को लेकर सरकारी क्षेत्र के पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) पर दो करोड़ रुपये का जुर्माना लगा दिया है। आपको इस बात से अवगत करा दें कि खुद इसकी जानकारी पीएनबी की ओर से दी गई है।

14,000 करोड़ रुपये के घोटाले

स्विफ्ट वैश्विक मैसेजिंग सॉफ्टवेयर है, जिसका इस्तेमाल वित्तीय इकाइयों द्वारा वैश्विक स्तर पर होने वाले लेनदेन के लिए किया जाता है। पीएनबी में आभूषण कारोबारी नीरव मोदी और उसके मामा मेहुल चोकसी द्वारा किए गए 14,000 करोड़ रुपये के घोटाले के मामले में इसी मैसेजिंग सॉफ्टवेयर का दुरुपयोग किया गया था।

वहीं पीएनबी ने शेयर बाजारों को भेजी सूचना में कहा कि रिजर्व बैंक ने 25 मार्च को पत्र भेजकर जुर्माना लगाने की जानकारी दी है। इससे पहले इसी साल के दौरान केंद्रीय बैंक ने विभिन्न निर्देशों के समयबद्ध क्रियान्वयन और स्विफ्ट परिचालन को मजबूत करने में विफल रहने वाले 36 सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के बैंकों पर 71 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था।

इन बैंकों पर लगा जुर्माना

जिन प्रमुख बैंकों पर जुर्माना लगाया गया था उनमें एसबीआई, आईसीआईसीआई बैंक, एचएसबीसी, बैंक ऑफ बड़ौदा, सिटी बैंक, केनरा बैंक और यस बैंक शामिल हैं। हालांकि, इस सूची में पीएनबी का नाम नहीं था। लेकिन अब नीरव मोदी मामले में केंद्रीय बैंक ने PNB पर दो करोड़ रुपये का जुर्माना लगा दिया है।

वहीं दूसरी और पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) की पूर्व प्रबंध निदेशक व मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) उषा अनंतसुब्रह्मण्यम और पीएनबी के 11 अन्य अधिकारियों को दिल्ली की एक अदालत ने बैंकिंग विनियमन कानून का उल्लंघन करने के एक मामले में समन जारी किया है। महानगर दंडाधिकारी धर्मेद्र सिंह ने 11 मार्च के अपने आदेश में अनंत सुब्रह्मण्यम, मौजूदा प्रबंध निदेशक व सीईओ सुनील मेहता, पूर्व कार्यकारी निदेशक आर. एस. सांगापुरे और पूर्व महाप्रबंधक राकेश कुमार व नेहल अहद व अन्य को 24 मई को अदालत में पेश होने को कहा है। बता दें कि यह आदेश मंगलवार को प्राप्त हुआ है।

बता दें कि अदालत भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा दायर एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी। याचिका में पीएनबी के अधिकारियों पर झूठी व गुमराह करने वाला विवरण देने का आरोप लगाया गया है। आरबीआई ने तीन अगस्त 2016 को एक गोपनीय सर्कुलर जारी किया था, जिसमें बैंकों को स्विफ्ट या इसी प्रकार के इंटरफेस के जरिए फंड के हस्तांतरण के लिए संचालन वातावरण के नियंत्रण को मजबूत बनाने के निर्देश दिए गए थे

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