जैसे-जैसे बच्चा थोड़ा बड़ा होने लगता है उसे दूध पिलाने का उपाय भी बदल जाता है। वर्किंग हो या हाउसवाइफ वह अपने बच्चों को दूध पिलाने के लिए प्लास्टिक की बोतलों का प्रयोग करती है। प्लास्टिक की बोतल सरलता से मिल जाती है, पर यह बच्चे की स्वास्थ्य के लिए बहुत नुकसानदायक होती है। प्लास्टिक की बोतल पर कीटाणु लगे रहते हैं जो बच्चे के बॉडी में जाकर उसकी स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा सकते हैं।
जब प्लास्टिक की बोतल में गर्म दूध डालते हैं तो प्लास्टिक में मौजूद केमिकल दूध के साथ मिल जाते हैं। जिससे बच्चे की स्वास्थ्य को नुकसान हो सकता है। इसकी वजह से आपके बच्चे का वजन भी कम होने लगता है। इसके अतिरिक्त प्लास्टिक की बोतल में दूध पीने से बच्चों को उल्टी, दस्त, बुखार व कब्ज जैसी समस्याएं हो सकती हैं। प्लास्टिक की बोतल में मौजूद केमिकल्स बच्चे के बॉडी की इम्युनिटी पावर को समाप्त कर देते हैं। जिससे वह सरलता से किसी भी बीमारी की चपेट में आने लगता है।
प्लास्टिक की बोतल में विस्फेनोल नाम का केमिकल मौजूद होता है। जो बच्चे के दिमाग को निर्बल बना देता है। अपने बच्चे को दूध पिलाने के लिए हमेशा कांच की बोतल का प्रयोगकरें। कांच की बोतल में केमिकल की मात्रा मौजूद नहीं होती है। इसलिए इससे दूध पिलाने से बच्चे की स्वास्थ्य को किसी प्रकार का नुकसान नहीं होता है। आप कांच की बोतल को ज्यादा देर तक धूप में रखकर गर्म कर सकते हैं।