महाराष्ट्र पुलिस की भीमा कोरेगांव हिंसा को लेकर पांच प्रमुख कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी के बाद हो रही आलोचनाओं के मद्देनजर शुक्रवार को पुलिस अधिकारियों ने बयान दिया.उन्होंने दावा किया कि इन कार्यकर्ताओं के पास से जब्त की गई चिट्ठियां व कागजातों से ये साबित होता है कि ये लोग माओवादियों के साथ मिलकर कार्य कर रहे थे व उनके लिए हथियार व हथगोले खरीदने में भी उनकी मदद कर रहे थे.

बता दें कि महाराष्ट्र पुलिस ने बीते मंगलवार को सुधा भारद्वाज, गौतम नवलखा, अरुण फेरेरा, वरनन गोनसाल्वेस व पी वरवरा राव को अरैस्ट किया था. पुलिस का दावा है कि अरैस्ट किए गए इन 5 वामपंथी विचारकों का माओवादियों से संबंध है.
पुलिस ने इस धारणा को तोड़ने के लिए प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की कि इस कार्यकर्ताओं को उनके विचारों के लिए अरैस्ट किया गया है. महाराष्ट्र के वरिष्ठ पुलिस ऑफिसर परमवीर सिंह ने बोला कि पुलिस को जब इनके संबंधों के बारे में प्रमाणिक तौर पर यकीन हो गया उसके बाद ही इन कार्यकर्ताओं को अरैस्ट किया गया.